परमाणु (Atom)

महर्षि कणाद ने अपने ग्रंथ वैशेषिक सूत्र में परमाणु सिद्धांत का प्रतिपादन किया। तत्पश्चात जॉन डाल्टन ने परमाणु की आधुनिक धारणा दी। प्रत्येक पदार्थ परमाणु से मिलकर बनता है तथा परमाणु पदार्थ की मूलभूत इकाई है। परमाणु किसी पदार्थ का वह सूक्ष्मतम कण है जो अधिकांशतः स्वतंत्र अवस्था में नहीं रह सकता है तथा जिसमें पदार्थ के गुण मौजूद रहते है। ग्रीक दार्शनिक डेमोक्रिटस ने पदार्थ के सूक्ष्म अविभाजित कण को परमाणु कहा।
परमाणु में मुख्य रूप से तीन कण होते है – इलेक्ट्रॉन, प्रोटॉन तथा न्यूट्रॉन।

डाल्टन के परमाणु सिद्धांत के अनुसार सभी द्रव्य चाहे तत्व, यौगिक या मिश्रण हो, सूक्ष्म कणों से बने होते हैं जिन्हें परमाणु कहते हैं।

डाल्टन के सिद्धांत को विवेचना निम्न प्रकार से कर सकते हैं:

  • सभी द्रव्य परमाणुओं से निर्मित होते हैं।
  • परमाणु अविभाज्य सूक्ष्मतम कण होते हैं जो रासायनिक अभिक्रिया में न तो सृजित होते हैं न ही उनका विनाश होता है।
  • दिए गए तत्व के सभी परमाणुओं का द्रव्यमान एवं रासायनिक गुणधर्म समान होते हैं।
  • भिन्न-भिन्न तत्वों के परमाणुओं के द्रव्यमान एवं रासायनिक गुणधर्म भिन्न-भिन्न होते हैं।
  • भिन्न-भिन्न तत्वों के परमाणु परस्पर छोटी पूर्ण संख्या के अनुपात में संयोग कर यौगिक निर्मित करते हैं।
  • किसी भी यौगिक में परमाणुओं की सापेक्ष संख्या एवं प्रकार निश्चित होते हैं।
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